From this morning's festivities :D
ता 4/11/2016/_सुबह
'11'45''''
श्रिदुर्गारक्ताम्बरा शक्तिपीठ ,संस्थापक अध्यक्ष
हम स्वामि शिशुविदेहानंद सरस्वती तिवारी महाराज ' अग्निहोत्रितिवारी'
तिवारी का बाडा
कारंजालाड (दत्त) 444105 जिला वाशिम महाराष्ट्र
'11'45''''
श्रिदुर्गारक्ताम्बरा शक्तिपीठ ,संस्थापक अध्यक्ष
हम स्वामि शिशुविदेहानंद सरस्वती तिवारी महाराज ' अग्निहोत्रितिवारी'
तिवारी का बाडा
कारंजालाड (दत्त) 444105 जिला वाशिम महाराष्ट्र
माँ मीराबाई ह तिवारी द्वारा आयोजित कार्यक्रम सव्वाकरोड मिट्टी के शिवलिंग निर्माण में विश्व के अनेकानेक व्यक्ति
ग्लोबल वार्मिंग और भुमण्डलिय औष्णिकरण जलवायुपरिवर्तन पर सन'1994' से शुरू है
हमने यह खेत तालाबों में प्लास्टिक की पन्नी बिछाकर
जल भंडारण की संकल्पना सन'1994/2005/ मे
ही दी थी, उस समय लोगों ने विषेश कर के
प्रशासकीय
क्षेत्रों के लोगों ने हमें
गलत करार दिया था,
देखीऐ
आज
उन्ही लोगों ने इसे लागू करने का
निश्चय करके
हमें
सही साबित कर
दिया
ग्लोबल वार्मिंग और भुमण्डलिय औष्णिकरण जलवायुपरिवर्तन पर सन'1994' से शुरू है
हमने यह खेत तालाबों में प्लास्टिक की पन्नी बिछाकर
जल भंडारण की संकल्पना सन'1994/2005/ मे
ही दी थी, उस समय लोगों ने विषेश कर के
प्रशासकीय
क्षेत्रों के लोगों ने हमें
गलत करार दिया था,
देखीऐ
आज
उन्ही लोगों ने इसे लागू करने का
निश्चय करके
हमें
सही साबित कर
दिया
श्रीदुर्गारक्ताम्बरा शक्तिपीठ कारंजा लाड 444105 जिल्हा'वाशिम'महाराष्ट्र.
ReplyDeletemyself__स्वामिशिशुविदेहानंद सरस्वति तिवारी महाराज
दोस्तों जुड़ जाओ
ता 4/11/2016/_सुबह
'11'45''''
श्रिदुर्गारक्ताम्बरा शक्तिपीठ ,संस्थापक अध्यक्ष
हम स्वामि शिशुविदेहानंद सरस्वती तिवारी महाराज ' अग्निहोत्रितिवारी'
तिवारी का बाडा
कारंजालाड (दत्त) 444105 जिला वाशिम महाराष्ट्र
माँ मीराबाई ह तिवारी द्वारा आयोजित कार्यक्रम सव्वाकरोड मिट्टी के शिवलिंग निर्माण में विश्व के अनेकानेक व्यक्ति
ग्लोबल वार्मिंग और भुमण्डलिय औष्णिकरण जलवायुपरिवर्तन पर सन'1994' से शुरू है
हमने यह खेत तालाबों में प्लास्टिक की पन्नी बिछाकर
जल भंडारण की संकल्पना सन'1994/2005/ मे
ही दी थी, उस समय लोगों ने विषेश कर के
प्रशासकीय
क्षेत्रों के लोगों ने हमें
गलत करार दिया था,
देखीऐ
आज
उन्ही लोगों ने इसे लागू करने का
निश्चय करके
हमें
सही साबित कर
दिया और ' आज'लगभग सभीलोग 'प्रशासकीय'और'अ'प्रशासकीय''सब'के'सब' हमारे'बनाये'हुए'कार्यक्रमों'' को''as it is ' चुराकर कम चला रहे है